क्या होगा अगर धरती घूमना बंद करदे तो | Facts in hindi

क्या होगा अगर हमारी प्यारी धरती घूमना बंद कर दे ? यह एक बेहद ही हैरान कर देने वाला सवाल है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि अगर ऐसा वाकई में होता है तो क्या होगा इस संसार का और क्या होगा हमारा ? Facts in Hindi के इस भाग में हम आपके सामने पैस करेंगे कुछ हैरान करदेने वाले तथ्यों के बारेमे।

 

हमारी धरती सूर्य मंडल का तीसरा ग्रह है। जैसा की हम सब जानते हे, धरती सूर्य परिक्रमा करने में 365 दिन का समय लेती हे। वैज्ञानिकों का मानना हे की धरती हर सेकंड में करीबन आधा किलोमीटर (460 मीटर) तक का सफर पूरा करती हे।

 

और इसके साथ हम भी उसी गति से रोज़ गति करतें हे। तो जरा सोच कर देखिए कि अगर कोई भी गाड़ी एक सेकंड में आधा किलोमीटर का सफर तय कर रहा हो और अचानक रुक जाए तो क्या होगा?

 

आप अपनी सीट से उठकर काफी दूर जाकर गिरेंगे। ठीक उसी तरह धरती के साथ-साथ हम भी गतिशील हे। सारी हवाएं सारे बस्तु यहां तक कि सारे भौतिक चीज़े भी गतिशील होतें हे।

 

तो जरा सोच के देखिये क्या होगर धरती अचानक घूमना बंद करदे। ऐसा अगर होता हे तो क्या होंगे इसके परिणाम। तो एक एक करके इसके ऊपर चर्चा करते हे।

 

भयंकर सुनामी का आना !

अगर धरती थोड़ी देर के लिए रुक जाती है तो वैज्ञानिकों के अनुसार सारे समुद्र का पानी एक झटके में आपस में मिल जाएंगे और भयंकर सुनामी का रूप लेके पृथ्वी की सतह पर फेल जाएंगे। इसे धरती का 90 फ़ीसदी भाग महज चंद मिनटों में जल में निमग्न हो जाएगा।

 

और ये सुनामी इतनी भयंकर होगी के आपको छुपने के लिए कोई उची जगह नहीं मिलेगी। आपको चारो तरफ एक जल प्रलय देखने को मिलेगा। ऊँची ऊँची लहरें सबकुछ तबाह करती जाएँगी।

 

वैसे भी हमारे धरती का तीन चौथाई हिस्सा पानी हे बाकि एक भाग भी कुछ ही घंटो में समुद्र में मिल जायेगा।

 

दो परमाणु बम से भी ज्यादा तबाही होगी !

 

पर उससे पहले ही हवा के तेज़ दवाब के चलते सारे घर और बड़े-बड़े इमारत टूटकर गिरने लगेंगे। यहां तक कि एक घर्षण बल से दो परमाणु बम फटने के समान ऊर्जा पैदा होने की संभावना हे।

 

ऐसा माना जाता हे जापान पर हुए परमाणु बम से हमले का २० गुना ज्यादा ऊर्जा पैदा होगा इस घर्षण से। इस ऊर्जा से धरती का तापमान ५००० से लेकर १०००० डिग्री तक पहंच सकता हे।  

 

इसे धरती पर जीबन की सत्ता तुरंत प्रभाब से ख़त्म हो जाएगी।

धरती का मैग्नेटिक फील्ड ख़त्म हो जायेगा !

 वैज्ञानिकों का यहां तक भी मानना है कि अगर ऐसा होता है तो सभी बड़े-बड़े हिम खंड भारी तेजी से  टूटेंगे  और समुद्र में एक बड़े सुनामी करने में मदद करेंगे।

 

यहां तक कि कई बड़े-बड़े गड्ढे धरती के सतह पर देखने को मिल सकती है. यह इसलिए होगा क्योंकि धरती के अंदर की ओर में जो मैग्नेटिक फील्ड मौजूद है उस पर भारी दवाब हेतु वह मैग्नेटिक फील्ड में काफी तेजी से बदलाव आएंगे।

 

मैग्नेटिक फील्ड में आयी इस भारी तबाही के कारण मध्याकर्षण शक्ति भी तुरंत प्रभाब से ख़त्म हो जाएगी। जिसके चलते धरती पर जीबन का संचार रुक जायेगा।

चाँद का दिखना बंद हो जायेगा !

और सबसे आश्चर्य की बात यह होगी कि कहीं कहीं जगह चांद दिखना बंद हो जायेगा। इस वजह से पृथ्वी का एक हिस्सा जो 6 महीने तक उजाले में और दूसरा हिस्सा अंधेरे में डूब जाएगा।

 

बैज्ञानिकों की माने अगर ऐसा 3 से लेकर 4 साल तक चलता रहा तो धरती में जीवन की सत्ता पूर्ण रूप से समाप्त और समाप्त हो जाएगी। वैसे बैज्ञानिकों का कहना हे आज तक ब्रह्मांड में एसी विचित्र घटना का उदाहरण कभी भी देखने को नहीं मिला है। ये मात्र एक कल्पना भर हो सकती है।

 

और आने वाले 400 से लेकर 600 सालों के अंदर ऐसी कोई घटना घटने की संभावना भी नहीं है। तो ये थी कुछ कल्पनाये।

 

वैसे क्या आप जानते हैं कि अगर द्वितीय विश्व युद्ध नहीं होता तो आज परिस्थितियां कैसी होती और अगर द्वितीय विश्व युद्ध में जर्मनी जीत जाता तो क्या होता जानेंगे हमारे लेख के अगले हिस्से में।

 

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